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संस्कृत भाषा, भारतीय संस्कृति और दर्शन की आधारभूत भाषा है. धार्मिक ग्रंथों से लेकर साहित्य और कला तक, संस्कृत ने भारतीय संस्कृति को आकार दिया है. इसका वैज्ञानिक व्याकरण भाषा विज्ञान में महत्वपूर्ण रहा है. आज भी संस्कृत का उपयोग पूजा, संगीत और चिकित्सा में किया जाता है. कई अंतरराष्ट्रीय संगठन संस्कृत भाषा के संरक्षण और प्रचार के लिए काम कर रहे हैं, जिससे इसे विश्व स्तर पर मान्यता मिल रही है.

संस्कृत को पिछले 3,500 वर्षों से पढ़ाया जा रहा है और इसकी विरासत भारत की सच्ची संस्कृति को समृद्ध करते हुए लंबे समय से जारी है. माना जाता है कि सबसे पुरानी इंडो-यूरोपियन भाषाओं में से एक, जिसके लिए पर्याप्त लिखित दस्तावेज मौजूद हैं. संस्कृत तेजी से आम लोगों के बीच एक लोकप्रिय भाषा विकल्प बन रही है.

ऐसे में संस्कृत के पाठ्यक्रमों में प्रवेश लेने वालों और संस्कृत भाषा में हायर एजुकेशन प्राप्त करने वालों की संख्या में वृद्धि हो रही है. अगर आप भी संस्कृत में कोई कोर्स करना चाहते हैं, तो हम आपको पतंजलि यूनिवर्सिटी के द्वारा उपलब्ध कराए जाने वाले संस्कृत भाषा के पाठ्यक्रमों और करियर के विकल्पों के बारे में बताने जा रहे हैं.

पतंजलि यूनिवर्सिटी में है संस्कृत विभाग
हरिद्वार, उत्तराखंड में स्थित पतंजलि यूनविर्सिटी में संस्कृत विभाग की स्थापना 2009 में की गई थी. ये विभाग विभिन्न पाठ्यक्रम और रिसर्च के अवसर प्रदान करता है. संस्कृत व्याकरण और साहित्य पर ध्यान केंद्रित करते हुए, विभाग प्राचीन ग्रंथों का विश्लेषण करने और उनको संरक्षित करने के लिए भी काम कर रहा है. यही नहीं, विभाग संस्कृत कम्प्यूटेशनल लैंग्वेज सांइस  जैसे क्षेत्रों में भी शामिल है.

विभाग के छात्र और शोधकर्ता लगातार संस्कृत के रहस्यों की खोज कर रहे हैं और ज्ञान के नए रास्ते खोज रहे हैं. इस विभाग के अंतर्गत छात्रों को फीस में 50 प्रतिशत छूट दी जाती है. साथ ही, प्रामाणिकता से अध्ययन करने वाले योग्य छात्रों को नौकरी की गारंटी भी दी जाती है. इसके अलावा, अजीवन ब्रह्मचारियों और संन्यासियों को विशेष 100 प्रतिशत छूट दी जाती है. विद्यार्थी शास्त्र स्मरण के माध्यम से एक लाख रुपये तक की राशि प्राप्त कर सकते हैं.

ये हैं पाठ्यक्रम, इतनी है फीस
पतंजलि यूनिवर्सिटी में भी लगभग सभी विश्वविद्यालयों की तरह ही बीए, एमए, पीजी डिप्लोमा और पीएचडी प्रोग्राम ऑफर किए जाते हैं. साथ ही, शास्त्री, आचार्य, शिक्षा शास्त्री, शिक्षा आचार्य, संयुक्ताचार्य (एकीकृत), योग विज्ञान शास्त्री, योग विज्ञान, विद्यानिधि (पीएचडी के समकक्ष), ज्योतिष शास्त्र में सर्टिफिकेट / डिप्लोमा इत्यादि कोर्सेस भी उपलब्ध हैं. इन कोर्सेस की अवधि नियमानुसार एक वर्ष से छह वर्ष तक की हो सकती है. वहीं, कोर्सेस की फीस प्रति सेमेस्टर 11,000 रुपये से शुरू होती है. इसके अलावा, एप्लीकेशन फीस, काउंसलिंग फीस, रजिस्ट्रेशन फीस आदि शुल्क भी जोड़े जाते हैं. अधिक जानकारी के लिए पतंजलि यूनिवर्सिटी की अधिकारिक वेबसाइट में जा सकते हैं.

संस्कृत में करियर की संभावनाएं
यदि आप संस्कृत में अपना करियर बनाना चाहते हैं, तो हाई स्कूल की पढ़ाई से ही संस्कृत विषय का चुनाव करिए. 12वीं पास करने के बाद की उच्च शिक्षा भी संस्कृत विषय में कर सकते हैं. संस्कृत के माध्यम से छात्र शिक्षक बन सकते हैं, अपने डॉक्टरेट को पूरा कर सकते हैं और प्रोफेसर बन सकते हैं और यदि वे चाहते हैं तो अनुवादक, लेखक, कवि और बहुत कुछ बन सकते हैं. इसके अलावा और भी बहुत सारे विकल्प मौज़ूद हैं, जैसे- सलाहकार (संस्कृत प्रूफ़ पढ़ना), संस्कृत शिक्षक, कंटेंट राइटर, संस्कृत अनुवादक आदि.

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