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बांग्लादेश: 77 वर्षीय शेख हसीना के खिलाफ जारी किया दूसरा गिरफ्तारी वारंट

ढाका बांग्लादेश की एक अदालत ने पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के खिलाफ दूसरा गिरफ्तारी वारंट जारी किया। इस बार वारंट जबरन गायब किए गए लोगों के मामले में उनकी कथित भूमिका के लिए जारी किया गया। 77 वर्षीय हसीना के खिलाफ मानवता के विरुद्ध अपराध के आरोप में एक गिरफ्तारी वारंट पहले ही जारी हो चुका है। हसीना को पिछले साल अगस्त में छात्र आंदोलन से उभरे आक्रोश के बाद सत्ता छोड़कर भारत भागना पड़ा था। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक घरेलू अंतर्राष्ट्रीय अपराध न्यायाधिकरण (आईसीटी) के मुख्य अभियोजक ताजुल इस्लाम ने कहा कि दूसरा वारंट उनके शासन के दौरान जबरन गायब किये गए लोगों से संबंधित है। आरोप है कि बांग्लादेशी सुरक्षाकर्मियों ने कथित तौर पर 500 से अधिक लोगों का अपहरण किया, जिनमें से कुछ को कई सालों तक गुप्त ठिकानों पर हिरासत में रखा गया। इस्लाम ने कहा, "अदालत ने शेख हसीना और उनके सैन्य सलाहकार, सैन्य कर्मियों और अन्य कानून प्रवर्तन अधिकारियों सहित 11 अन्य के खिलाफ वारंट जारी किया है।" अंतरिम सरकार ने हसीना के प्रत्यर्पण और मुकदमे को बड़ा मुद्दा बना रही है। मीडिया रिपोर्ट के अनुसार मुख्य सलाहकार के प्रेस सचिव शफीकुल आलम ने रविवार को एक प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान जोर देकर कहा कि हसीना को 'मानवता के खिलाफ अपराधों' के लिए न्याय का सामना करना चाहिए। बांग्लादेश की अंतरिम सरकार ने हाल ही में भारत सरकार को एक राजनयिक नोट भेजकर, देश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के प्रत्यर्पण की मांग की है। अंतरिम सरकार के विदेश मामलों के सलाहकार तौहीद हुसैन ने 23 दिसंबर को ढाका में कहा, "हमने भारत को सूचित किया है और न्यायिक उद्देश्यों के लिए शेख हसीना की वापसी का अनुरोध किया है। यह एक नोट वर्बेल (राजनयिक नोट) के माध्यम से संप्रेषित किया गया है।" Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 34

लोगों को कथित रूप से गायब किए जाने की घटनाओं में शेख हसीना की संलिप्तता का पता चला, आयोग ने रिपोर्ट में किया दावा

ढाका बांग्लादेश की अंतरिम सरकार द्वारा गठित जांच आयोग ने अपनी अनंतिम रिपोर्ट में कहा है कि उसे लोगों को कथित रूप से गायब किए जाने की घटनाओं में पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की संलिप्तता का पता चला है। लोगों के लापता होने की घटनाओं की जांच के लिए गठित आयोग ने अनुमान लगाया है कि ऐसे मामलों की संख्या 3,500 से अधिक है। कार्यवाहक प्रधानमंत्री मोहम्मद यूनुस के मुख्य सलाहकार (सीए) के कार्यालय की प्रेस शाखा ने शनिवार रात एक बयान में कहा, ‘‘आयोग को इस बात के सबूत मिले हैं कि पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना के निर्देश पर लोगों को गायब किया गया।’’ इसमें कहा गया है कि अपदस्थ प्रधानमंत्री के रक्षा सलाहकार मेजर जनरल (सेवानिवृत्त) तारिक अहमद सिद्दीकी, राष्ट्रीय दूरसंचार निगरानी केंद्र के पूर्व महानिदेशक और बर्खास्त मेजर जनरल जियाउल अहसन, वरिष्ठ पुलिस अधिकारी मोनिरुल इस्लाम एवं मोहम्मद हारुन-ओर-रशीद और कई अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी इन घटनाओं में शामिल पाए गए। सेना और पुलिस के ये सभी पूर्व अधिकारी फरार हैं। ऐसा माना जा रहा है कि वे छात्रों के नेतृत्व वाले विद्रोह के बाद पांच अगस्त को हसीना की अवामी लीग सरकार के सत्ता से बाहर होने के बाद देश से बाहर चले गए थे। लोगों को गायब किए जाने की घटनाओं की जांच करने वाले पांच सदस्यीय आयोग ने शनिवार देर रात मुख्य सलाहकार को उनके आधिकारिक आवास यमुना पर ‘‘सत्य का खुलासा’’ शीर्षक से अपनी अंतरिम रिपोर्ट सौंपी जिसके बाद यह बयान जारी किया गया। बयान के अनुसार, आयोग के अध्यक्ष एवं उच्चतम न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायाधीश मैनुल इस्लाम चौधरी ने यूनुस को बताया कि जांच के दौरान उन्हें एक व्यवस्थित तरीके की जानकारी मिली जिसके कारण इन घटनाओं का पता नहीं चल सका। चौधरी ने कहा, ‘‘लोगों को गायब करने या न्यायेतर हत्या करने वाले व्यक्तियों को भी पीड़ितों की जानकारी नहीं होती थी।’’ रिपोर्ट में कहा गया है कि पुलिस की विशिष्ट अपराध-विरोधी ‘रैपिड एक्शन बटालियन’ (आरएबी) और अन्य कानून प्रवर्तन एजेंसी ने लोगों को जबरन ले जाने, उन्हें प्रताड़ित करने और हिरासत में रखने की घटनाओं को अंजाम देने के लिए एक-दूसरे के साथ मिलकर काम किया। आरएबी में सेना, नौसेना, वायु सेना और पुलिस के लोग शामिल होते हैं। आयोग ने आतंकवाद रोधी अधिनियम, 2009 को खत्म करने या उसमें व्यापक संशोधन करने के साथ-साथ आरएबी को खत्म करने का प्रस्ताव भी रखा। मानवाधिकार कार्यकर्ता और आयोग के सदस्य सज्जाद हुसैन ने कहा कि उन्होंने इस तरह की घटनाओं के कारण लोगों के लापता होने की 1,676 शिकायतें दर्ज की हैं और अब तक उनमें से 758 मामलों की जांच की है। इनमें से 200 लोग या 27 प्रतिशत पीड़ित कभी वापस नहीं लौटे और जो वापस लौटे, उनमें से अधिकतर को रिकॉर्ड में गिरफ्तार किए गए व्यक्ति के तौर पर दिखाया गया है। आयोग में अध्यक्ष के अलावा न्यायमूर्ति फरीद अहमद शिबली, मानवाधिकार कार्यकर्ता नूर खान, निजी बीआरएसी विश्वविद्यालय की शिक्षिका नबीला इदरीस और मानवाधिकार कार्यकर्ता सज्जाद हुसैन भी आयोग में शामिल हैं। इससे पहले, आयोग ने एक संवाददाता सम्मेलन में घोषणा की कि उसे ढाका और उसके बाहरी इलाकों में आठ गुप्त हिरासत केंद्र मिले हैं। आयोग के अध्यक्ष ने शनिवार को यूनुस को बताया कि वह मार्च में एक और अंतरिम रिपोर्ट पेश करेंगे तथा सभी आरोपों की जांच पूरी करने के लिए उन्हें कम से कम एक और वर्ष की आवश्यकता होगी। टीवी चैनलों और सोशल मीडिया पर उन पीड़ितों के साक्षात्कार प्रसारित किए गए जिन्हें कथित रूप से गायब किया गया था। इन पीड़ितों में हसीना के शासन का सक्रिय रूप से विरोध करने वाले विपक्ष के कार्यकर्ता और पूर्व सैन्य अधिकारी शामिल हैं। Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 27

ढाका में यातायात नियंत्रित करने शुरू किए मेट्रो रेल प्रोजेक्ट पर अनुमानित लागत पर प्रश्नचिह्न लगाया गया, अब समीक्षा

शेख हसीना के ढाका मेट्रो रेल प्रोजेक्ट पर उठे सवाल, अंतरिम सरकार करेगी समीक्षा हसीना के कार्यकाल के दौरान शुरू किए मेट्रो रेल प्रोजेक्ट पर उठे सवाल, अंतरिम सरकार की समीक्षा की घोषणा ढाका में यातायात नियंत्रित करने शुरू किए मेट्रो रेल प्रोजेक्ट पर अनुमानित लागत पर प्रश्नचिह्न लगाया गया, अब समीक्षा ढाका  बांग्लादेश की अपदस्थ प्रधानमंत्री शेख हसीना के कार्यकाल के दौरान राजधानी ढाका में यातायात नियंत्रित करने के लिए शुरू किए मेट्रो रेल प्रोजेक्ट पर सवाल उठे हैं। हसीना सरकार के पतन के बाद अस्तित्व में आई अंतरिम सरकार ने प्रोजेक्ट की समीक्षा करने की घोषणा की है। इस प्रोजेक्ट की अनुमानित लागत पर प्रश्नचिह्न लगाया गया है। ढाका से छपने वाले बांग्ला अखबार (अंग्रेजी संस्करण) प्रोथोम अलो की खबर के अनुसार, पूर्व हसीना सरकार के मेट्रो के नए मार्ग के चयन पर गंभीर आपत्ति की गई है। यह भी आरोप लगाया गया है कि जो मार्ग पहले तैयार होना चाहिए, उसे सबसे आखिर में पूरा कराने का निर्णय एक विशेष समूह को लाभ पहुंचाने के लिए किया गया। इस समूह के लिए पूर्व सरकार ने अपनी प्राथमिकता बदल दी। इस प्रोजेक्ट से संबद्ध मंत्रालयों के अधिकारियों ने कहा कि नए मेट्रो रेल ट्रैक की प्राथमिकता में आम लोगों के हित का ध्यान नहीं रखा गया। यहां तक कि निर्माण के लिए तय किया गया रूट भी गलत है। प्रोजेक्ट पर सवाल उठने के बाद सड़क और पुल मंत्रालय नए सिरे से प्राथमिकताएं तय कर रहा है। मंत्रालय के सलाहकार फौजुल कबीर खान ने कहा कि मौजूदा प्राथमिकता सूची की समीक्षा की जाएगी। विवादः प्रोथोम अलो के अनुसार मुख्य रूप से एमआरटी लाइन-5 पर सवाल उठे हैं। इसका निर्माण गबटोली से तकनीकी चौराहा, कल्याणपुर, श्यामोली, कॉलेज गेट, असद गेट, रसेल चौराहा, कारवां बाजार, हातिरझील, तेजगांव, आफताबनगर, आफताबनगर सेंटर, आफताबनगर पूर्व और नसीराबाद होते हुए दशेरकंडी तक किया जाना था। संबंधित अधिकारियों ने कहा है कि एमआरटी लाइन-2 को लाइन-5 (दक्षिणी मार्ग) पर प्राथमिकता दी जानी चाहिए। लाइन-2 को ढाका उद्यान, मोहम्मदपुर, जिगताला, विज्ञान प्रयोगशाला, न्यू मार्केट, अजीमपुर, पलाशी, ढाका मेडिकल कॉलेज, गुलिस्तान, मोतीझील, कमलापुर के माध्यम से गैबटोली से नारायणगंज तक यात्रियों को ले जाना था। लाइन-2 परियोजना में गुलिस्तान से सदरघाट तक एक शाखा लाइन का निर्माण भी शामिल है। योजना आयोग ने क्या कहा लाइन-2 की परियोजना एमआरटी लाइन-5 परियोजना से कहीं अधिक महत्वपूर्ण है। हालांकि परियोजना को प्राथमिकता सूची के अंतिम स्लॉट में रखा गया है। इस परियोजना में कोई उल्लेखनीय प्रगति नहीं हुई है जबकि लाइन-5 परियोजना के लिए व्यवहार्यता अध्ययन पहले ही पूरा हो चुका है। यहां तक कि तकनीकी डिजाइन और खरीद योजना को भी अंतिम रूप दे दिया गया है। योजना आयोग के अधिकारी कह रहे हैं कि लाइन-5 के मार्ग वाले क्षेत्रों में उतने वाणिज्यिक या औद्योगिक क्षेत्र नहीं हैं। इसके अलावा यह मार्ग लाइन-6 के काफी करीब है, जो पहले से ही सेवा में है। गबटोली से असद गेट तक के इलाकों के निवासियों को एक या दो किलोमीटर की दूरी के भीतर इस लाइन की सेवा मिल सकती है। हालांकि, लाइन-2 के निर्माण से अधिक लोगों को लाभ होता। इसलिए, पहले लाइन-2 के निर्माण के लिए प्रस्तावित परियोजना को लागू करना अधिक उचित है, जो न्यू मार्केट, धनमंडी और पुराने ढाका सहित शहर के कई सबसे घनी आबादी वाले क्षेत्रों को जोड़ता है।     Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 43

शेख हसीना ने बांग्लादेश से हेलिकॉप्टर पर सवार होकर देश छोड़ा था, अब गिरफ्तारी वॉरंट हुआ जारी

ढाका बांग्लादेश में तख्तापलट और खूनी हिंसा के बाद देश छोड़कर निकलीं शेख हसीना के खिलाफ गिरफ्तारी वॉरंट जारी किया गया है। स्थानीय मीडिया के अनुसार देश की एक अदालत ने उन पर मानवता के खिलाफ अपराध किए जाने के आरोपों में गिरफ्तारी वॉरंट जारी किया है। शेख हसीना ने बांग्लादेश से हेलिकॉप्टर पर सवार होकर देश छोड़ा था और दिल्ली के पास स्थित हिंडन एयरबेस पर उतरी थीं। उसके बाद से वह भारत में ही रह रही हैं, लेकिन उनके ठिकाने के बारे में कोई जानकारी नहीं है। उन्हें किसी सुरक्षित स्थान पर रखा गया है। शेख हसीना के खिलाफ अदालत में अर्जी डालने वाले वकील मोहम्मद ताजुल इस्लाम ने कहा कि यह यादगार दिन है। वहीं बांग्लादेश में आंदोलन के दौरान मारे गए सैकड़ों लोगों में से एक के परिजनों ने कहा कि यह अच्छी खबर है। हम उम्मीद करते हैं कि अब शेख हसीना के खिलाफ ट्रायल आगे बढ़ेगा और हमें न्याय मिलेगा। शेख हसीना बीते 15 सालों से बांग्लादेश की सत्ता पर काबिज थीं। उन पर आरोप है कि पीएम रहते हुए उनके शासनकाल में बड़े पैमाने पर लोगों की गिरफ्तारी हुई। इसके अलावा राजनीतिक विरोधियों को चुन-चुनकर मार डाला गया। बांग्लादेश इंटरनेशनल क्राइम्स ट्राइब्यूनल के मुख्य अधिवक्ता ताजुल इस्लाम ने कहा कि शेख हसीना को 18 नवंबर को अदालत ने पेश करने का आदेश दिया है। इस्लाम ने कहा, 'शेख हसीना उन लोगों का नेतृत्व कर रही थीं, जिन्होंने देश में जुलाई से अगस्त तक हिंसा फैलाई, जिसमें सैकड़ों लोग मारे गए।' अदालत ने शेख हसीना के अलावा उनकी पार्टी अवामी लीग के महासचिव कायदुल कादर को भी अरेस्ट करने को कहा है। इन दोनों नेताओं के अलावा 44 अन्य के लिए भी गिरफ्तारी वॉरंट जारी किया गया है। इन 44 लोगों के नाम जारी नहीं किए गए हैं। Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 45

बांग्लादेश की पूर्व PM शेख हसीना के खिलाफ किराना मालिक की हत्या का केस दर्ज

ढाका बांग्लादेश में शेख हसीना के खिलाफ केस दर्ज होने की शुरुआत हो गई है. हालांकि, उनके खिलाफ अभी एक किराना दुकानदार की हत्या का मामला दर्ज किया गया है. दरअसल, 19 जुलाई को बांग्लादेश की राजधानी ढाका के मोहम्मदपुर इलाके में पुलिस ने फायरिंग की थी. ढाका ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक गोलीबारी में मोहम्मदपुर के किराना दुकान मालिक अबू सईद की मौत हो गई थी. इस मामले में ही अब बांग्लादेश की पूर्व पीएम शेख हसीना को आरोपी बनाया गया है. शेख हसीना के अलावा इस केस में 6 अन्य आरोपी भी हैं. शेख हसीना की पार्टी के लीडर भी आरोपी पूर्व पीएम के अलावा शेख हसीना की पार्टी आवामी लीग के महासचिव ओबैदुल कादर, पूर्व गृह मंत्री असदुज्जमां खान कमाल, पूर्व पुलिस महानिरीक्षक (आईजीपी) चौधरी अब्दुल्ला अल मामून, डिटेक्टिव ब्रांच के पूर्व चीफ हारुनोर रशीद, डीएमपी पुलिस के पूर्व आयुक्त हबीबुर रहमान के साथ पूर्व डीएमपी संयुक्त आयुक्त बिप्लब कुमार सरकार को भी इस मामले में आरोपी बनाया गया है. सरकारी अधिकारियों के खिलाफ भी केस सिर्फ शेख हसीना और उनकी पार्टी के लोग ही नहीं, बल्कि पुलिस के कई अधिकारियों के अलावा सरकारी अधिकारी भी इस हत्या के मामले में आरोपी हैं. मर्डर केस का मुकदमा मोहम्मदपुर निवासी आमिर हमजा शातिल ने ढाका मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट राजेश चौधरी की अदालत में दर्ज कराया है. आरक्षण विरोधी आंदोलन पर की थी गोलीबारी हत्या से जुड़ा यह मामला आरक्षण के खिलाफ बांग्लादेश में हुए आरक्षण से जुड़ा है. दरअसल, 19 जुलाई को बांग्लादेश की राजधानी ढाका के बोसिला इलाके में आरक्षण के खिलाफ आंदोलन किया जा रहा था. आंदोलन समर्थक इस दौरान एक विशाल जुलूस निकाल रहे थे. इस जुलूस पर पुलिस ने गोलीबारी की थी, जिसमें अबू सईद की मौत हो गई थी. इस मामले में ही शेख हसीना सहित तमाम सरकारी अधिकारियों को आरोपी बनाया गया है. बांग्लादेश में कैसे हुई आंदोलन की शुरुआत? बता दें कि बांग्लादेश की सरकारी नौकरियों में उन लोगों के परिवार को आरक्षण मिलता था, जिन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ आजादी की लड़ाई में भूमिका निभाई है. इस कोटे के खिलाफ ही वहां उग्र प्रदर्शन शुरू हो गए. शेख हसीना ने रणनीति और बल दोनों से इस आंदोलन को रोकने की कोशिश की, लेकिन उनके दोनों ही प्रयास विफल रहे. आखिर में उन्होंने प्रदर्शनकारियों की सभी मांगे मान लीं, लेकिन प्रदर्शनकारी उनके इस्तीफे पर अड़ गए. प्रदर्शनकारियों की मांग मानते हुए शेख हसीना इस्तीफा देकर चुपचाप भारत चली आईं, तब से लेकर अब तक वह भारत में ही हैं. 5 अगस्त को हसीना सरकार के पतन के बाद देश भर में भड़की हिंसा की घटनाओं में बांग्लादेश में 230 से अधिक लोग मारे गए, जिससे जुलाई के मध्य में आरक्षण विरोधी प्रदर्शनों के शुरू होने के बाद से मरने वालों की संख्या 560 हो गई. हसीना के नेतृत्व वाली सरकार के पतन के बाद एक अंतरिम सरकार का गठन किया गया और इसके मुख्य सलाहकार, 84 वर्षीय नोबेल पुरस्कार विजेता मुहम्मद यूनुस ने पिछले सप्ताह अपने 16 सदस्यीय सलाहकार परिषद के विभागों की घोषणा की. द डेली स्टार अखबार की रिपोर्ट के अनुसार, सोमवार को अवामी लीग की कट्टर प्रतिद्वंद्वी बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) सहित सात राजनीतिक दलों ने यूनुस से अलग-अलग मुलाकात की और कहा कि अंतरिम सरकार स्वतंत्र और निष्पक्ष चुनाव कराने के लिए अनुकूल माहौल बनाने के लिए आवश्यक समय ले सकती है. रिपोर्ट में बीएनपी महासचिव मिर्जा फखरुल इस्लाम आलमगीर के हवाले से कहा गया है कि हमने इस अंतरिम सरकार को चुनाव कराने के लिए उचित माहौल बनाने के लिए आवश्यक समय दिया है. उन्होंने कहा कि उन्होंने चुनाव पर चर्चा नहीं की और बीएनपी ने अगले चुनाव कराने के लिए कोई विशिष्ट समय सीमा का उल्लेख नहीं किया. उन्होंने कहा कि बीएनपी अंतरिम सरकार की सभी गतिविधियों को अपना पूरा समर्थन दे रही है. सूत्रों के हवाले से रिपोर्ट में कहा गया है कि पार्टी ने यूनुस से पार्टी अध्यक्ष खालिदा जिया और कार्यवाहक अध्यक्ष तारिक रहमान सहित अपने नेताओं के खिलाफ सभी मामलों को वापस लेने का आग्रह किया. हसीना के निष्कासन के बाद 79 वर्षीय पूर्व प्रधानमंत्री जिया को जेल से रिहा कर दिया गया था. उन्हें 2018 में भ्रष्टाचार के लिए 17 साल जेल की सजा सुनाई गई थी.   Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 39

सेंट मार्टिन की भौगोलिक स्थिति ऐसी है, जहां दुनिया में कहीं से भी समुद्र मार्ग के द्वारा आसानी से पहुंचा जा सकता है

ढाका बांग्लादेश की पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना ने अपनी सरकार के पतन के पीछे अमेरिका का हाथ बताया है. हसीना ने आरोप लगाया है कि अमेरिका को सेंट मार्टिन द्वीप नहीं सौंपने के कारण उन्हें सत्ता से बेदखल होना पड़ा, जो उसे बंगाल की खाड़ी में अपना प्रभुत्व स्थापित करने में सक्षम बनाता. उन्होंने बांग्लादेशी नागरिकों से कट्टरपंथियों के बहकावे में नहीं आने की अपील की है. बता दें कि शेख हसीना वर्तमान में भारत में हैं. हसीना ने कहा, 'मैंने इस्तीफा दे दिया, ताकि मुझे लाशों का ढेर नहीं देखना पड़े. वे छात्रों की लाशों पर सत्ता में आना चाहते थे, लेकिन मैंने इसकी अनुमति नहीं दी, मैंने प्रधानमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया. मैं सत्ता में बनी रह सकती थी यदि मैंने सेंट मार्टिन द्वीप की संप्रभुता अमेरिका के सामने समर्पित कर दी होती और उसे बंगाल की खाड़ी में अपना प्रभुत्व स्थापित करने की अनुमति दे दी होती. मैं अपने देश के लोगों से विनती करता हूं, कृपया कट्टरपंथियों के बहकावे में न आएं.' मैं जल्द ही वतन वापस लौटूंगी: शेख हसीना ईटी ने अपनी रिपोर्ट में शेख हसीना के हवाले से कहा, 'अगर मैं देश में रहती तो और अधिक जानें जातीं, और अधिक संसाधनों और सार्वजनिक संपत्तियों को नुकसान पहुंचाया जाता. मैंने देश छोड़ने का अत्यंत कठिन निर्णय लिया. मैं आपकी नेता बनी क्योंकि आपने मुझे चुना, आप मेरी ताकत थे. यह समाचार पाकर मेरा दिल रो रहा है कि मेरी पार्टी आवामी लीग के कई नेता मारे गए, कार्यकर्ताओं को परेशान किया जा रहा है और उनके घरों में तोड़फोड़ और आगजनी की जा रही है. अल्लाह की रहमत से मैं जल्द ही वापस लौटूंगी. अवामी लीग चुनौतियों से लड़कर बार-बार खड़ी हुई है. मैं हमेशा बांग्लादेश के भविष्य के लिए प्रार्थना करूंगी, जिस राष्ट्र का सपना मेरे महान पिता ने देखा था और उसके लिए प्रयास किया. वह देश जिसके लिए मेरे पिता और परिवार ने अपनी जान दे दी.'  पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना ने अपनी सरकार के पतन के बाद पहली बार प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने अपने देश में गृह युद्ध जैसे हालात पैदा करने के लिए अमेरिका को जिम्मेदार ठहराया है. अपने करीबी सहयोगियों के माध्यम से मीडिया को भिजवाए एक संदेश में हसीना ने आरोप लगाया है कि अमेरिका को सेंट मार्टिन द्वीप नहीं सौंपने के कारण उन्हें सत्ता से बेदखल होना पड़ा. उन्होंने कहा है, 'मैंने इस्तीफा दे दिया, ताकि मुझे लाशों का ढेर नहीं देखना पड़े. मैं सत्ता में बनी रह सकती थी यदि मैंने सेंट मार्टिन द्वीप की संप्रभुता अमेरिका के सामने समर्पित कर दी होती.' अब सवाल उठता है कि आखिर अमेरिका सुदूर बंगाल की खाड़ी में स्थित एक छोटे से  द्वीप के पीछे क्यों पड़ा है और इसे हासिल करने से उसे क्या फायदा होने वाला है? दरअसल, सेंट मार्टिन द्वीप बंगाल की खाड़ी के उत्तरपूर्वी भाग में एक छोटा (केवल 3 वर्ग किमी क्षेत्रफल) आइलैंड है, जो कॉक्स बाजार-टेकनाफ प्रायद्वीप (Teknaf Peninsula) के सिरे से लगभग 9 किमी दक्षिण में है, और बांग्लादेश के सबसे दक्षिणी छोर का निर्माण करता है. हजारों साल पहले, यह द्वीप टेकनाफ प्रायद्वीप का ही विस्तारित हिस्सा हुआ करता था. टेकनाफ प्रायद्वीप का कुछ हिस्सा बाद में जलमग्न हो गया और इस प्रकार उसका सबसे दक्षिणी हिस्सा बांग्लादेश की मुख्य भूमि से अलग हो गया और एक द्वीप बन गया. इस द्वीप को सबसे पहले 18वीं शताब्दी में अरब के व्यापारियों ने बसाया था. उन्होंने इसका नाम 'जजीरा' रखा था.   ब्रिटिश शासन के दौरान इस द्वीप का नाम चटगांव के तत्कालीन डिप्टी कमिश्नर के नाम पर सेंट मार्टिन द्वीप रखा गया. स्थानीय लोग इस द्वीप को बंगाली भाषा में 'नारिकेल जिंजिरा' कहते हैं, जिसका अंग्रेजी में मतलब है 'कोकोनट आइलैंड'. यह बांग्लादेश का एकमात्र कोरल आइलैंड (मूंगा द्वीप) है. अमेरिका 9 किलोमीटर लंबे और 1.2​ किलोमीटर चौड़े द्वीप पर इसलिए कब्जा चाहता है, ताकि वह यहां एयर बेस बना सके, जो उसे बंगाल की खाड़ी और हिंद महासागर में अपना प्रभुत्व स्थापित करने में सक्षम बनाएगा. सेंट मार्टिन द्वीप जैव विविधता, पर्यावरण, मत्स्य पालन, पर्यटन सहित कई कारणों से महत्वपूर्ण है. जियो-पॉलिटिक्स में भी इस क्षेत्र का बहुत अधिक महत्व है. सेंट मार्टिन द्वीप का है रणनीतिक महत्व सेंट मार्टिन की भौगोलिक स्थिति ऐसी है, जहां दुनिया में कहीं से भी समुद्र मार्ग के द्वारा आसानी से पहुंचा जा सकता है. अतः यह एक महत्वपूर्ण जलमार्ग है. रणनीतिक दृष्टिकोण से देखें तो सेंट मार्टिन द्वीप से बंगाल की खाड़ी और आसपास के पूरे समुद्री इलाके पर नजर रखी जा सकती है. इस दृष्टि से सेंट मार्टिन बांग्लादेश के लिए बहुत महत्वपूर्ण है. वहीं, दक्षिण एशिया यह सुनिश्चित करता है कि जियो-पॉलिटिक्स में शक्ति का संतुलन बना रहे. बंगाल की खाड़ी दक्षिण और दक्षिण पूर्व एशिया के बीच एक पुल का काम कर रही है. परिणामस्वरूप, यह क्षेत्र व्यापार मार्गों के जरिए जियो-पॉलिटिक्स में देशों के साथ संबंध स्थापित करने के लिए बहुत सुविधाजनक है. अचानक युद्ध की स्थिति में इस क्षेत्र से संपर्क स्थापित करना आसान होगा. इसलिए शक्तिशाली देश सेंट मार्टिन द्वीप की ओर देख रहे हैं. इन्हीं व्यापारिक और रणनीतिक कारणों से चीन और अमेरिका यहां अपना दबदबा बनाना चाहते हैं. और चूंकि भारत खुद बंगाल की खाड़ी के पास स्थित देश है, इसलिए अपना हित सुरक्षित रखने में सेंट मार्टिन द्वीप का उसके लिए भी काफी रणनीतिक महत्व है. अमेरिका की दिलचस्पी का कारण यही है कि अगर वह इस द्वीप पर कब्जा कर लेता है, तो यहां से पूरे क्षेत्र को नियंत्रित कर सकता है, जिसमें चीन और भारत भी शामिल हैं. आसान भाषा में समझें तो चीन और भारत एशिया महाद्वीप के दो सबसे शक्तिशाली देश हैं. दोनों आर्थिक और व्यापारिक रूप से दुनिया में काफी महत्व रखते हैं, और आने वाले समय में इन देशों का प्रभाव और बढ़ने वाला है. अमेरिका खुद को दुनिया का पावर सेंटर बनाए रखने के लिए चीन और भारत दोनों को नियंत्रित करना चाहेगा. इस काम के लिए उसे इस रीजन में एक जगह चाहिए, जहां वह अपना सेटअप लगा सके. इसीलिए उसकी नजर बांग्लादेश के सेंट मार्टिन द्वीप पर है. जियो-पॉलिटिक्स के विशेषज्ञ कहते रहे हैं कि अमेरिका और ब्रिटेन सहित कई पश्चिमी देश … Read more

बांग्लादेश में सेना के काफिले पर नाराज भीड़ ने किया हमला, 15 घायल

ढाका सरकार, आवाम, अधिकारी, जज और अब सेना. बांग्लादेश में कोई भी सुरक्षित नहीं है. कई दिनों से जारी हिंसा अब बेकाबू हो गई है. इसी बीच सेना के जवानों पर भी हमले की खबर है. सेना की गाड़ी पर ये हमला गोपालगंज इलाके में हुआ. ढाका ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार, इस घटना में सेना के जवानों, पत्रकारों और स्थानीय लोगों सहित 15 लोग घायल हो गए हैं. घायलों में दो को गोली लगी है. यह घटना शनिवार शाम करीब 4 बजे तब हुई जब अवामी लीग के हजारों कार्यकर्ता शेख हसीना की वापसी की मांग करते हुए सड़क पर थे. जवानों ने प्रदर्शन से रोका तो कर दिया हमला रिपोर्ट के अनुसार, हजारों की संख्या में अवामी लीग के नेता, कार्यकर्ता और स्थानीय लोग पूर्व प्रधानमंत्री शेख हसीना की देश में वापसी की मांग कर रहे थे. उन्होंने ढाका-खुलना राजमार्ग को अवरुद्ध कर दिया था. इसी बीच सेना की गाड़ी वहां पहुंची और उन्होंने प्रदर्शनकारियों से सड़क को खोलने और प्रदर्शन को खत्म करने की अपील की. लेकिन भीड़ ने उन पर ईंटें फेंकना शुरू कर दिया. बाद में भीड़ को तितर-बितर करने के लिए सेना के जवानों ने लाठियां भांजी. इसके जवाब में प्रदर्शनकारियों ने सेना के वाहन में तोड़फोड़ की और उसे आग के हवाले कर दिया.गोपालगंज कैंप के लेफ्टिनेंट कर्नल मकसुदुर रहमान ने घटना की पुष्टि की और कहा कि करीब 3,000 से 4,000 लोगों ने इकट्ठा होकर सड़क जाम कर दी है. हमले में सेना के कई जवान घायल हुए हैं.गोपीनाथपुर संघ के पूर्व अध्यक्ष लच्छू शरीफ ने कहा कि सेना के सदस्यों ने स्थिति को नियंत्रित करने के लिए गोलीबारी की. एक बच्चे सहित दो लोगों को गोली मार दी गई. घटना में किसी की मौत नहीं हुई. भारत-बांग्लादेश सीमा पर अलर्ट पड़ोसी देश बांग्लादेश में अशांति के मद्देनजर असम पुलिस भारत-बांग्लादेश सीमा पर हाई अलर्ट पर है ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि कोई भी व्यक्ति अवैध रूप से राज्य में प्रवेश न कर सके. पुलिस महानिदेशक जी.पी. सिंह ने कहा कि केंद्र ने निर्देश जारी किया है कि किसी भी व्यक्ति को बांग्लादेश से अवैध रूप से भारत में प्रवेश करने की अनुमति नहीं दी जाएगी. हिंदुओं पर हो रहे हमले बांग्लादेश में हिंदुओं को भी निशाना बनाया जा रहा है. कई मंदिरों को आग लगा दी गई है. इसी बीच अंतरिम सरकार के प्रमुख मोहम्मद यूनुस ने शनिवार को हिंसा प्रभावित अल्पसंख्यक समुदायों पर हमलों की निंदा की. उन्होंने अल्पसंख्यकों पर हो रहे हमलों को जघन्य बताया और सभी युवाओं से हिंदू, ईसाई, बौद्ध परिवारों की सुरक्षा सुनिश्चित करने का आग्रह किया. बांग्लादेश के दो हिंदू संगठनों- बांग्लादेश हिंदू बौद्ध ईसाई एकता परिषद और बांग्लादेश पूजा उद्यापन परिषद के अनुसार, 5 अगस्त को शेख हसीना के नेतृत्व वाली सरकार के पतन के बाद से बांग्लादेश में अल्पसंख्यक समुदायों के सदस्यों को 53 जिलों में हमलों की कम-से-कम 205 घटनाओं का सामना करना पड़ा.   Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 67