स्वास्थ्य व्यवस्था पर सवाल: मंत्री को नहीं पता शू-कवर और सर्जिकल कवर का अंतर

स्वास्थ्य व्यवस्था पर सवाल: मंत्री को नहीं पता शू-कवर और सर्जिकल कवर का अंतर

Question on health system: Minister does not know the difference between shoe-cover and surgical cover

बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था का हाल: मंत्री और स्वास्थ्य कर्मियों की चूक ने उजागर की स्थिति

पटना ! बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था पर एक और चौंकाने वाली घटना ने लोगों का ध्यान आकर्षित किया है। हाल ही में एक अस्पताल में, स्वास्थ्य विभाग के कर्मचारियों ने एक बेहद ही अजीब और शर्मनाक गलती की। उन्होंने अस्पताल के एक उच्चाधिकारी को सर्जिकल हेड कवर की बजाय सिर पर शू-कवर पहना दिया। यह घटना तब और गंभीर हो गई जब खुद मंत्री जी को इस अंतर का एहसास नहीं हुआ और वे इसे सामान्य मानते रहे।

यह घटना बिहार की बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था का एक और उदाहरण है, जिसमें ना केवल संसाधनों की कमी है बल्कि प्रशासनिक क्षमता और जागरूकता का भी अभाव है। मंत्री जी का इस मुद्दे पर प्रतिक्रिया ना देना और इसे नजरअंदाज करना, उनके कार्यकाल पर गंभीर सवाल खड़े करता है। कई लोग यह दावा कर रहे हैं कि बिहार के वर्तमान स्वास्थ्य मंत्री अब तक के सबसे नाकारा और असफल मंत्री रहे हैं। उनके नेतृत्व में अस्पतालों की स्थिति और भी खराब हुई है, जहां कर्मचारियों को बुनियादी चिकित्सा उपकरणों और प्रक्रियाओं का ज्ञान तक नहीं है। इस घटना ने बिहार की स्वास्थ्य व्यवस्था की खस्ता हालत को उजागर किया है और आम जनता के बीच गहरी नाराजगी और निराशा पैदा की है। अब यह देखना होगा कि इस पर कोई सुधारात्मक कदम उठाए जाते हैं या फिर यह भी बिहार की अन्य समस्याओं की तरह भुला दिया जाएगा।

अब सवाल उठता है?

बिहार की जनता ने स्वास्थ्य व्यवस्था में सुधार की उम्मीदें जताई थीं, लेकिन इस तरह की घटनाएं यह दर्शाती हैं कि सुधार की राह अभी बहुत लंबी है। जनता अब कार्रवाई की उम्मीद कर रही है, ताकि ऐसे लापरवाह कदमों से राज्य की स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार हो सके।

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