स्पीकर पद के लिए आखिरी समय में बिगड़ गई बात, राजनाथ की चुप्पी के बाद टूटी सर्वसम्मति की डोर!

स्पीकर पद के लिए आखिरी समय में बिगड़ गई बात, राजनाथ की चुप्पी के बाद टूटी सर्वसम्मति की डोर!

Things went wrong at the last moment for the post of Speaker, the thread of consensus broke after Rajnath’s silence!

मंगलवार सुबह लोकसभा अध्यक्ष के लिए आम सहमति बनाने को लेकर एक बार फिर विपक्षी नेताओं की रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह मुलाकात हुई, लेकिन इस बैठक में भी आम सहमति नहीं बन सकी।

18वीं लोकसभा के लोकसभा अध्यक्ष पद को लेकर एनडीए और इंडिया गठबंधन में रार मच गई है। आजादी के बाद पहली बार लोकसभा स्पीकर का चुनाव होने जा रहा है। विपक्षी गठबंधन ने भी स्पीकर पद के लिए अपना उम्मीदवार उतार दिया है। केरल से कांग्रेस सांसद के. सुरेश ने इंडिया गठबंधन उम्मीदवार बनाए गए हैं। के. सुरेश का मुकाबला एनडीए गठबंधन के उम्मीदवार ओम बिरला से होगा। बिरला 17वीं लोकसभा में भी अध्यक्ष रह चुके हैं। संसद में लोकसभा अध्यक्ष का चुनाव बुधवार को होगा।

सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, मंगलवार सुबह लोकसभा अध्यक्ष पद के लिए आम सहमति बनाने को लेकर विपक्षी नेताओं की केंद्रीय रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह संसद में मुलाकात हुई। लेकिन इस बैठक में भी आम सहमति नहीं बन सकी। विपक्षी गठबंधन के नेताओं ने राजनाथ सिंह से कहा कि हम एनडीए उम्मीदवार के समर्थन के लिए तैयार हैं, लेकिन उपसभापति के पद का क्या होगा? विपक्षी गठबंधन की मांग पर राजनाथ सिंह ने कोई जवाब नहीं दिया।

सोमवार शाम को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने लोकसभा अध्यक्ष के नाम पर आम सहमति बनाने के लिए सभी विपक्षी दलों के नेताओं से संपर्क किया था। इसी दौरान उन्होंने कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे से भी बात की थी। खरगे ने रक्षा मंत्री से कहा था कि हम एनडीए उम्मीदवार का समर्थन करेंगे। लेकिन ये समर्थन हम तभी देंगे, जब विपक्ष को उपसभापति का पद मिले। इस पर राजनाथ सिंह ने उन्हें फिर से कॉल करने की बात कही थी। सूत्रों के मुताबिक राजनाथ सिंह ने विपक्ष को उपसभापति पद की मांग पर कोई आश्वासन नहीं दिया।

मंगलवार सुबह लोकसभा अध्यक्ष के लिए आम सहमति बनाने को लेकर एक बार फिर विपक्षी नेताओं की रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह मुलाकात हुई। लेकिन इस बैठक में भी आम सहमति नहीं बन सकी। विश्वस्त सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, बैठक में राजनाथ सिंह ने इंडिया गठबंधन के नेताओं को बताया कि स्पीकर के लिए हम ओम बिरला के नाम पर आप सभी का समर्थन चाहते हैं। इस पर विपक्षी गठबंधन के नेताओं ने कहा कि हम समर्थन के लिए तैयार हैं, लेकिन उपसभापति के पद का क्या होगा? वह पद विपक्षी गठबंधन को मिलना चाहिए। लेकिन विपक्षी गठबंधन की मांग पर राजनाथ सिंह ने कोई जवाब नहीं दिया।

राजनाथ की तरफ से जवाब नहीं मिलने पर कांग्रेस सांसद केसी वेणुगोपाल ने उनसे कहा कि कल आपने कहा था कि हम डिप्टी स्पीकर को लेकर आपको मंगलवार सुबह बताएंगे। लेकिन अभी तक आपने बताया नहीं है। राजनाथ की तरफ कोई ठोस जवाब नहीं मिलने के बाद केसी वेणुगोपाल और डीएमके नेता टीआर बालू राजनाथ सिंह के कार्यालय से बाहर आ गए। कांग्रेस नेता केसी वेणुगोपाल ने कहा कि विपक्ष लोकसभा अध्यक्ष का चुनाव लड़ेगा, उन्होंने सरकार पर डिप्टी स्पीकर का पद विपक्ष को देने में आनाकानी करने का आरोप लगाया है। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा कि हमारी पार्टी की राय है कि उपसभापति विपक्ष का होना चाहिए।

राजनाथ सिंह ने नहीं किया कॉल बैक: राहुल

मंगलवार सुबह कांग्रेस पार्टी के पूर्व अध्यक्ष और सांसद राहुल गांधी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार कहा था कि विपक्ष को सरकार के साथ रचनात्मक सहयोग करना चाहिए। सोमवार शाम को राजनाथ सिंह ने मल्लिकार्जुन खरगे को फोन किया और उनसे लोकसभा अध्यक्ष पद पर समर्थन देने को कहा। पूरे विपक्ष ने कहा कि हम लोकसभा अध्यक्ष का समर्थन करेंगे, लेकिन परंपरा यह है कि उपसभापति का पद विपक्ष को दिया जाना चाहिए। राजनाथ सिंह ने कहा कि वे मल्लिकार्जुन खरगे को फिर से फोन करेंगे, लेकिन उन्होंने अभी तक ऐसा नहीं किया है। पीएम मोदी विपक्ष से सहयोग मांग रहे हैं लेकिन हमारे नेता का अपमान हो रहा है। सरकार की नीयत साफ नहीं है।

कौन है इंडिया गठबंधन के उम्मीदवार के. सुरेश?

कोडिकुन्निल सुरेश यानी के. सुरेश केरल की मावेलिकारा लोकसभा सीट से सांसद हैं। साल 1989 से उनका इस सीट पर कब्जा है। उन्हें लोकसभा में सबसे ज्यादा अनुभव हैं। वे अब तक 7 बार सांसद बन चुके हैं। साथ ही के सुरेश कांग्रेस की सरकार में 2012 से 2014 तक राज्य मंत्री थे। साल 2018 में उन्हें केरल कांग्रेस कमेटी का कार्यकारी अध्यक्ष भी बनाया गया था। जाने माने दलित नेता के. सुरेश एआईसीसी के सचिव भी रह चुके हैं। जानकारी के अनुसार, के. सुरेश के नामांकन पत्र में इंडिया ब्लॉक के सहयोगी डीएमके, शिवसेना (उद्धव), शरद पवार (एनसीपी) और अन्य प्रमुख दलों ने हस्ताक्षर किए हैं। टीएमसी ने अभी तक हस्ताक्षर नहीं किए हैं। वे ममता बनर्जी की मंजूरी का इंतजार कर रहे हैं।

वहीं, एनडीए की तरफ से लोकसभा अध्यक्ष के लिए ओम बिरला उम्मीदवार होंगे। बिरला राजस्थान के कोटा से लगातार तीसरी बार के सांसद हैं। 2019 में पहली बार इन्हें स्पीकर बनाया गया। एनडीए ने दूसरी बार उन्हें लोकसभा अध्यक्ष पद के लिए उम्मीदवार बनाया है। ओम बिरला की सदन में कड़े प्रशासक की छवि रही हैं। मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष पद के लिए दोनों नेताओं ने अपना नामांकन दाखिल कर दिया है।

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