MY SECRET NEWS

फिल्म सिकंदर के एक गाना में 500 से ज्यादा डांसर्स के साथ नजर आयेंगे सलमान खान

मुंबई, बॉलीवुड के दबंग स्टार सलमान खान अपनी आने वाली फिल्म सिकंदर के एक गाना में 500 से ज्यादा डांसर्स के साथ नजर आ सकते हैं। सलमान खान की फिल्म 'सिकंदर' इस साल की बहुप्रतीक्षित फिल्मों में से एक है। फिल्म ‘सिकंदर’ का निर्देशन ए. आर. मुरुगादॉस ने किया है, जबकि इसे साजिद नाडियाडवाला प्रोड्यूस कर रहे हैं। इस फिल्म का पहला गाना जोहरा जबीन हाल हीं में रिलीज हुआ है।  कहा जा रहा है कि जोहरा जबीं के बाद अब मेकर्स एक और धमाकेदार गाने को फिल्म में जोड़ने जा रहे हैं। कहा जा रहा है कि इस गाने की शूटिंग काफी बड़े लेवल पर की गई है, जिसके लिये 500 से ज्यादा ट्रेंड डांसर टर्की से बुलाए गए हैं। यह गाना काफी जबरदस्त होने वाला है, जो फिल्म का अंतिम गाना होगा। कहा जा रहा है कि इस गाने की शूटिंग पूरी हो चुकी है। इस गाने में काफी शानदार विजुअल्स का इस्तेमाल किया गया है।इस गाने में कमाल की कोरियोग्राफी भी देखने को मिलने वाली है। उम्मीद है कि इतने बड़े पैमाने पर फिल्माया गया आखिरी गाना दर्शकों को थिरकने पर मजबूर कर देगा। गौरतलब है कि सलमान खान आगामी ईद पर 'सिकंदर' के साथ बड़े पर्दे पर वापस आ रहे हैं। इस फिल्म में रश्मिका मंदाना और काजल अग्रवाल भी मुख्य भूमिकाओं में हैं।   Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 12

नौकरी की तलाश कर रहे शिक्षित बेरोजगार युवाओं के लिए सुनहरा मौका, 10 मार्च को जॉब फेयर का आयोजन

रायपुर नौकरी की तलाश कर रहे शिक्षित बेरोजगार युवाओं के लिए नौकरी पाने का सुनहरा मौका है। जिला रोजगार एवं स्वरोजगार मार्गदर्शन केंद्र रायपुर द्वारा सोमवार, 10 मार्च को जॉब फेयर का आयोजन किया जाएगा। इस जॉब फेयर में निजी क्षेत्र के नियोजकों द्वारा विभिन्न पदों पर भर्ती की जाएगी। जॉब फेयर में शामिल होने के इच्छुक उम्मीदवार अधिक जानकारी के लिए नीचे दी गई जानकारी ध्यानपूर्वक पढ़ें। बता दें कि इस जॉब फेयर का आयोजन राजभवन के पीछे, पुराना पुलिस मुख्यालय स्थित जिला रोजगार एवं स्वरोजगार मार्गदर्शन केंद्र, रायपुर के कार्यालय में सोमवार, 10 मार्च सुबह 11 बजे से दोपहर 2 बजे तक होगा। इस जॉब फेयर के माध्यम से निजी क्षेत्र के नियोजक शिवशक्ति एग्रीटेक लिमिटेड रायपुर और सेव माइक्रोफाइनेंस प्राइवेट लिमिटेड रायपुर द्वारा सेल्स रिप्रजेंटेटिव एवं कस्टमर रिलेशनशिप ऑफिसर के 190 से अधिक पदों पर भर्ती के लिए साक्षात्कार लिए जाएंगे। शैक्षणिक योग्यता उक्त पदों पर भर्ती के लिए आवेदकों को न्यूनतम 12वीं उत्तीर्ण होना आवश्यक है। कितनी मिलेगी सैलरी? बता दें कि चयन के पश्चात आवेदकों को उनके पद के अनुसार ₹8,300 से ₹30,000 प्रतिमाह सैलरी दी जाएगी। नोट: इन पदों पर छत्तीसगढ़ के सभी जिलों के नौकरी के इच्छुक एवं योग्य आवेदक, निर्धारित तिथि एवं स्थल पर अपने बायोडाटा, आधार कार्ड, पासपोर्ट साइज फोटो, स्वयं के दुपहिया वाहन का लाइसेंस, शैक्षणिक और तकनीकी योग्यता व अनुभव प्रमाण-पत्रों की छायाप्रति के साथ उपस्थित होना सुनिश्चित करेंगे। इस संबंध में अधिक जानकारी के लिए आवेदक जिला रोजगार कार्यालय, रायपुर में भी संपर्क कर सकते हैं। Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 11

Youtube की बड़ी कार्रवाई: 48 लाख चैनल्स सहित 29 लाख वीडियो हटाए

 नई दिल्ली Youtube अपनी पॉलिसी को लेकर काफी सख्त है। अभी कंपनी की तरफ से ऐसे चैनल और क्रिएटर्स पर कार्रवाई भी की जा रही है जो पॉलिसी का पालन नहीं कर रहे हैं। YouTube ने कम्युनिटी गाइडलाइंस का उल्लंघन करने वाले वीडियो पर सख्त कार्रवाई करते हुए अक्टूबर से दिसंबर 2023 के बीच 29 लाख वीडियो प्लेटफॉर्म से हटा दिए हैं। यह संख्या दुनिया के किसी भी देश में हटाए गए वीडियो में सबसे अधिक है। YouTube की हालिया रिपोर्ट बताती है, यह पिछले तिमाही की तुलना में करीब 32% ज्यादा है। 2020 के बाद से भारत में हटाए जा रहे वीडियो की संख्या लगातार बढ़ रही है, और इस मामले में ब्राजील दूसरे स्थान पर है। YouTube का ऑटोमैटेड सिस्टम कर रहा निगरानी Youtube की तरफ से ऑटोमैटेड कंटेंट मॉडरेशन टूल का इस्तेमाल किया जा रहा है। इसकी मदद से वीडियो की पहचान की जाती है। साथ ही पॉलिसी का उल्लंघन करने पर सख्त कार्रवाई भी की जाती है। रिपोर्ट पर नजर मारें तो पता चलता है कि 99.7% वीडियो इसी सिस्टम द्वारा फ्लैग किए गए हैं। भारत समेत दुनियाभर में YouTube ने स्पैम, स्कैम और गलत जानकारी देने वाले 81.7% वीडियो डिलीट किए हैं। इसके अलावा, 6.6% वीडियो उत्पीड़न, 5.9% बच्चों की सुरक्षा, और 3.7% हिंसा से जुड़े होने के कारण हटाए गए। न केवल वीडियो, बल्कि YouTube ने अक्टूबर से दिसंबर 2023 के बीच लगभग 48 लाख चैनल्स पर भी कार्रवाई की है। साथ ही, 130 करोड़ से ज्यादा ऐसे कमेंट्स भी डिलीट कर दिए हैं जो पॉलिसी को ब्रेक कर रहे थे। ये एक बड़ी कार्रवाई है। क्योंकि बीते कई महीनों से ऐसे वीडियो पर कार्रवाई की बात हो रही थी, लेकिन अब साफ हो गया है कि ऐसे वीडियो को हटा दिया गया है। ऑनलाइन गैंबलिंग को प्रमोट करने वालों पर होगी कार्रवाई Google ने अभी एक नई पॉलिसी बनाई है। इसमें ऐसे क्रिएटर्स पर भी कार्रवाई हो सकती है जो गैंबलिंग साइट्स या ऐप्स को प्रमोट करते हैं। इस पॉलिसी को नहीं माननें पर क्रिएटर्स के खिलाफ कार्रवाई हो सकती है और ऐसे चैनल्स को ब्लॉक किया जा सकता है। दरअसल इसमें भी कुछ टर्म एंड कंडीशन को जोड़ा गया है, जिसमें कहा गया है कि ऐसे किसी भी ऐप को प्रमोट नहीं किया जा सकता है जो गूगल अप्रूव्ड नहीं है। अगर ऐसे किसी का भी इस्तेमाल किया जाता है तो ये खतरनाक साबित हो सकता है। Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 21

वैकल्पिक पशु चिकित्सा से कम खर्च पर आसानी से पशुओं की बिना किसी दुष्प्रभाव के चिकित्सा की जा सकती

भोपाल पशुओं की वैकल्पिक पशु चिकित्सा पद्धति पर दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन होटल पलाश रेसीडेंसी में 11 एवं 12 मार्च को पूर्वाह्न 10 बजे से होगा। प्रदेश के पशुपालन एवं डेयरी विभाग एवं मध्य प्रदेश राज्य पशु चिकित्सा परिषद के समन्वय से आयोजित इस कार्यशाला में दीनदयाल शोध संस्थान चित्रकूट के विषय विशेषज्ञ अभय महाजन, प्रमुख सचिव, पशुपालन एवं डेयरी उमाकांत उमराव, अध्यक्ष, वेटरनरी काउंसिल ऑफ इंडिया उमेश चंद्र शर्मा शामिल होंगे। कार्यशाला में राष्ट्रीय स्तर के विषय विशेषज्ञों द्वारा प्रदेश के पशु चिकित्सकों को तकनीकी मार्गदर्शन दिया जाएगा। इसमें लगभग 110 प्रतिभागी सम्मिलित हो रहे हैं। कार्यशाला में वैकल्पिक पद्धति से पशुओं की चिकित्सा किए जाने संबंधी एक पॉलिसी बनाने का भी कार्य किया जाना है। इससे शासन द्वारा वैकल्पिक पशु चिकित्सा पद्धति को पशुओं की चिकित्सा के लिए प्रदेश में लागू किया जा सके । देश में आदिकाल से पारंपरिक एवं वैकल्पिक पशु चिकित्सा पद्धति का उपयोग किया जाता था। इसे पुनः पशुओं की चिकित्सा में बढ़ावा देने एवं जन-जन तक पहुंचाने के लिए यह कार्य शाला आयोजित की जा रही है। वर्तमान में आधुनिक चिकित्सा पद्धति के कारण मनुष्यों एवं पशुओं में जीवाणु रोधी दवाइयाँ के प्रति प्रतिरोधकता का बढ़ना महामारी का रूप ले रहा है, जो एक भयानक वैश्विक खतरा बनता जा रहा है। आधुनिक चिकित्सा पद्धति से एवं एंटीबायोटिक के दुरुपयोग से इसका दुष्प्रभाव मनुष्य एवं पशुओं में देखा जा रहा है। इसके कारण एंटी माइक्रोबियल रेजिस्टेंस की वैश्विक समस्या उत्पन्न हो गई है। इससे निपटने के लिये अल्टरनेट वेटरनरी प्रैक्टिस जैसे आयुर्वेद, होम्योपैथी, पारंपरिक चिकित्सा, यूनानी चिकित्सा इत्यादि का प्रयोग अत्यंत आवश्यक है, जिससे कम खर्च पर आसानी से पशुओं की बिना किसी दुष्प्रभाव के चिकित्सा की जा सकती है।   Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 25

गर्भावस्था में बढ़ा हुआ वजन आसानी से होगा कम, बस डेली रूटीन में शामिल कर ले यें ड्रिंक्स

गर्भावस्था के बाद वजन कम करना महिलाओं के लिए काफी चुनौतीपूर्ण हो जाता है. हार्मोनल परिवर्तन, जीवनशैली में बदलाव और मेटाबॉलिज्म परिवर्तनों के कारण बढ़े हुए वजन को कम करना काफी मुश्किल हो जाता है. कई अध्ययनों के अनुसार, नींद की कमी, तनाव, शारीरिक गतिविधि में कमी और आहार में परिवर्तन जैसे कारण इस अवधि में वजन घटाने को और मुश्किल बना देते हैं. हालांकि अगर आप अपने मेटाबॉलिज्म को मेंटेन रखते हैं और पोषक तत्वों से भरपूर ड्रिंक्स को अपने रूटीन में शामिल करते हैं तो आपको वजन घटाने के साथ-साथ प्रेग्नेंसी की दिक्कतों से रिकवरी में भी मदद मिल सकती है. 1. गुनगुना पानी और नींबू नींबू पानी पाचन में सहायता करता है, लिवर को डिटॉक्स करता है और हाइड्रेशन में मदद करता है. इस ड्रिंक में मौजूद विटामिन सी मेटाबॉलिज्म को बढ़ाता है और ऑक्सिडेटिव तनाव को कम करता है. जर्नल ऑफ क्लिनिकल बायोकैमिस्ट्री एंड न्यूट्रिशन में प्रकाशित एक अध्ययन में कहा गया है कि नींबू में पॉलीफेनोल नामक कुछ यौगिक होते हैं, जो खानपान से होने वाले मोटापे को रोकने के लिए फायदेमंद होते हैं. यही कारण है कि यह प्रसव के बाद वजन घटाने के लिए एक बहुत ही प्रभावी ड्रिंक है. अगर आप इसे अधिक स्वास्थ्यवर्धक बनाना चाहते हैं तो इसमें चीनी न डालें. साथ ही बेहतर अवशोषण के लिए गुनगुने पानी का उपयोग करें. 2. मेथी का पानी प्रसव के बाद वजन घटाने में तेजी लाने के लिए एक और बढ़िया ड्रिंक है मेथी का पानी. जर्नल ऑफ ट्रेडिशनल चाइनीज मेडिकल साइंसेज में प्रकाशित इस अध्ययन में कहा गया है कि मेथी के बीज ब्लड शुगर के स्तर को नियंत्रित करने, पाचन में सुधार करने और सूजन को कम करने में मदद करते हैं. ये स्तनपान कराने वाली माताओं में स्तनपान को भी बढ़ावा देते हैं जो न केवल इस ड्रिंक को प्रसव के बाद वजन घटाने के लिए अच्छा बनाता है बल्कि दूध के उत्पादन में भी मदद करता है. इस ड्रिंक को बनाने के लिए बीजों को रात भर भिगोएं और ज्यादा से ज्यादा फायदे के लिए सुबह पिएं. 3. ग्रीन टी ग्रीन टी में कैटेचिन होता है जो मेटाबॉलिज्म और फैट लॉस को बढ़ावा देता है. यह प्रसव के बाद रिकवरी के लिए जरूरी एंटीऑक्सिडेंट भी देता है. जर्नल क्लिनिकल न्यूट्रिशन में प्रकाशित एक अध्ययन में पाया गया कि ग्रीन टी की अच्छी खुराक से तीन महीने में महिलाओं में काफी वजन कम हुआ, कमर का साइज कम हुआ और कुल कोलेस्ट्रॉल और एलडीएल प्लाज्मा के स्तर में लगातार कमी आई.   Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 40

हम अपने मुसलमान भाइयों को भी कहेंगे कि वह हमारे साथ होली खेलकर होली का मजा लें: मंत्री विजयवर्गीय

इंदौर  भाजपा के वरिष्ठ नेता व कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय अपने बयानों को लेकर हमेशा चर्चा में रहते हैं. इस बार होली को लेकर कैबिनेट मंत्री बयान दिया है. कैलाश विजयवर्गीय ने गंगा जमुनी तहजीब के तहत होली मनाने की अपील की है. उन्होंने कार्यकर्ताओं को छावा फिल्म दिखाने के दौरान कहा इस साल होली का त्योहार पवित्र रमजान माह में शुक्रवार के दिन आ रहा है, सभी को साथ में मिलकर होली मनाना चाहिए. कैलाश विजयवर्गीय की गंगा-जमुनी अपील दरअसल, कैलाश विजयवर्गीय इंदौर में भाजपा कार्यकर्ताओं को छावा फिल्म दिखाने मंगल सिटी मॉल पहुंचे थे. जहां कैबिनेट मंत्री ने चर्चा के दौरान कहा "हमारे देश में गंगा जमुनी तहजीब रही है. हम इसलिए अपने मुसलमान भाइयों को भी कहेंगे कि वह हमारे साथ होली खेलकर होली का मजा लें. कैबिनेट मंत्री विजयवर्गीय ने कहा "आजकल कुछ मुस्लिमों कट्टरों ने वीडियो के जरिए भ्रम पैदा कर रखा है. जिसके कारण ऐसी स्थिति होती है. इसलिए मैं मुसलमान भाइयों से कहूंगा कि पहले इस बात का पता लगाएं कि उनके पूर्वज कौन थे, क्योंकि मुस्लिमों के पूर्वजों ने तो वृंदावन में भगवान कृष्ण के साथ भी होली खोली है." अबू आजमी को बताया पागल वहीं अबू आजमी के बयान पर कैलाश विजयवर्गीय ने कहा "अबू आजमी पागल व्यक्ति है, जो वर्तमान के जागरण समाज के बीच ऐसी बेहूदी बातें कर रहे हैं. उन्होंने कहा मैं वहां के मुख्यमंत्री को पर्सनली कहूंगा कि ऐसे लोगों को कड़ी सजा दी जाए. जिससे कि भविष्य में बोलने से पहले लोगों को सबक मिल सके." आपको बता दें इस बार होली जुम्मे के दिन 14 मार्च को पड़ रही है. रमजान माह में होली खेलने के दौरान सांप्रदायिक विवाद को लेकर विशेष सतर्कता रखने की भी बात की जा रही है. यही वजह है कि कैलाश विजयवर्गीय ने कहा की होली का पर्व साल में एक बार आता है, लेकिन जुमा हर सप्ताह होती है, इसलिए मुस्लिम भाइयों को बड़ा दिल रखना चाहिए." Pushpendra“माय सीक्रेट न्यूज़” यह एक ऑनलाइन वेबसाइट है, जो आपको देश – दुनिया और आपके आसपास की हर छोटी-बड़ी खबरों को आप तक पहुंचाती है। इस वेबसाइट का संचालन वरिष्ठ पत्रकार पुष्पेन्द्र जी कर रहे हैं। उन्होंने पत्रकारिता में BJC (बेचलर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) और MJC (मास्टर ऑफ़ जर्नलिज्म एंड कम्युनिकेशन) की डिग्री 2011 में हरिसिंह गौर केंद्रीय विश्वविद्यालय सागर मप्र से हासिल की है। उन्होंने भोपाल के स्वदेश, राज एक्सप्रेस, राष्ट्रीय हिंदी मेल, सांध्य प्रकाश, नवदुनिया और हरिभूमि जैसे बड़े समाचार पत्र समूहों में काम किया है।  और पढ़ें इस वेबसाइट का संचालन मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से हो रहा है, जहाँ से प्रदेश की राजनीति से लेकर विकास की योजनाएं तैयार होती हैं।दे श व प्रदेश जिले की ताजा अपडेट्स व राजनीतिक प्रशासनिक खबरों के लिए पढ़ते रहिए हमारी वेबसाइट (my secret news. Com )👈 ✍️ पुष्पेन्द्र , (वरिष्ठ पत्रकार) भोपाल, मप्र  mysecretnews.com recent visitors 8

भगोरिया पर्व का अंचल में उल्लास,मादलों की थाप पर झूमे आदिवासी, गुलाल से सराबोर हुआ माहौल

आलीराजपुर/झाबुआ आदिवासी अंचल में प्रमुख सांस्कृतिक पर्व भगोरियों मेलों की शुरुआत शुक्रवार से हो गई। अब 13 मार्च तक अंचल सांस्कृतिक उत्सव के उल्लास में डूबा रहेगा। पहले दिन झाबुआ-आलीराजपुर जिले के वालपुर, कट्ठीवाड़ा, उदयगढ़, बड़ी, भगोर, बेकल्दा, मांडली व कालीदेवी में मेले लगे। हजारों की संख्या में लोग इनमें मांदल की थाप और बांसुरी की धुन पर पारंपरिक नृत्य करते हुए निकले। युवतियां भी पारंपरिक गेर भगोरिया का सबसे बड़ा आकर्षण रही। बड़ी संख्या में बाहर से भी लोग भगोरिया उत्सव में शामिल होने के लिए आए। शनिवार को झाबुआ-आलीराजपुर जिले में नानपुर, उमराली, राणापुर, मेघनगर, बामनिया, झकनावदा व बलेड़ी में भगोरिया मेला लगेगा। इसके अलावा धार, बड़वानी, खरगोन, खंडवा में भी मेलों की धूम रहेगी। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के एक दिन पूर्व शुरू हुए मेलों में आधुनिकता भी दिखी। भगोरिया को लेकर अलग-अलग मान्यताएं हैं। वरिष्ठ लेखक आरएस त्रिवेदी ने बताया कि भगोर नामक गांव माताजी के श्राप से उजड़ गया था जो बाद में वापस बसा। इस खुशी में वहां वार्षिक मेला आयोजित किया गया। बाद में इस तरह के मेले अन्य कस्बों में भी लगने लगे, चूंकि यह परंपरा भगोर की तर्ज पर शुरू हुई थी, इसलिए इसका नाम भगोरिया पड़ गया। एक अन्य प्रथा के अनुसार होली के सात दिन पहले आने वाले हाट प्राचीनकाल में गुलालिया हाट कहे जाते थे। भगोरिया हाट कहने लगे गुलालिया हाट ही बाद में भगोरिया हाट कहे जाने लगे। सभी ग्रामीण हाट बाजार स्थल पर ही एकत्रित हो जाते। गुलाल उड़ती और उल्लास भरा वातावरण छा जाता। रियासत काल में राजा व जागीरदार भी इसमें शामिल होते थे। वे होली की गोट यानी पुरस्कार स्वरूप कुछ नगदी व वस्तु अपनी प्रजा के बीच बांटते थे। अब यह भूमिका जन प्रतिनिधियों के हिस्से में आ गई है। भगोरिया हाटों में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था पुलिस का कहना है कि भगोरिया हाटों में कड़ी सुरक्षा व्यवस्था रहेगी। भगोरिया में हथियारों के प्रदर्शन को पूरी तरह प्रतिबंधित किया गया है। साथ ही सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक संदेश अथवा ऑडियो-वीडियो वायरल करने पर भी सख्त कार्रवाई होगी। भगोरिया उत्सव में निकलती है गेर बता दें कि आदिवासी अंचल में होली से एक सप्ताह पूर्व से नगर, कस्बे व ग्राम में हाट बाजार के दिन भगोरिया हाट की परंपरा रही है। यह लोक पर्व देश-विदेश में मशहूर है। भगोरिया हाट में आदिवासी समाजजन पारंपरिक वेशभूषा में शामिल होते हैं तथा ढोल-मांदल की थाप व बांसुरी की तान के साथ नृत्य करते हुए गेर निकाली जाती है। यह गेर भगोरिया का सबसे बड़ा आकर्षण है। इसमें आदिवासी समाज की पुरातन पारंपरिक संस्कृति के रंग बिखरते हैं। यही कारण है कि देश के साथ ही विदेश से भी लोग भगोरिया उत्सव देखने के लिए आते हैं। कब-कहां पर भगोरिया हाट     07 मार्च– वालपुर, कट्ठीवाड़ा, उदयगढ़, भगोर, बेकल्दा, मांडली व कालीदेवी।     08 मार्च- नानपुर, उमराली, राणापुर, मेघनगर, बामनिया, झकनावदा व बलेड़ी।     09 मार्च– छकतला, कुलवट, सोरवा, आमखुट, झाबुआ, झिरण, ढोल्यावाड़, रायपुरिया, काकनवानी व कनवाड़ा।     10 मार्च– आलीराजपुर, आजादनगर, पेटलावद, रंभापुर, मोहनकोट, कुंदनपुर, रजला, बड़ा गुड़ा व मेड़वा।     11 मार्च– बखतगढ़, आंबुआ, अंधारवाड़, पिटोल, खरडू, थांदला, तारखेड़ी व बरवेट।     12 मार्च– बरझर, खट्टाली, चांदपुर, बोरी, उमरकोट, माछलिया, करवड़, बोड़ायता, कल्याणपुरा, मदरानी व ढेकल।     13 मार्च– फुलमाल, सोंडवा, जोबट, पारा, हरिनगर, सारंगी, समोई व चौनपुरा। आदिवासी समाज के लिए खास है भगोरिया पर्व, लड़के-लड़कियां चुनते हैं मनपसंद हमसफर आदिवासी संस्कृति का पर्व भगोरिया की शुरुआत होने जा रही है. सात दिनों तक चलने वाला यह पर्व मुख्य रुप से आदिवासी क्षेत्र धार, झाबुआ, खरगोन, अलीराजपुर, करड़ावद जैसे क्षेत्र में विशेष रूप से मनाया जाता है. जिन अंचलों में आदिवासी समाज बड़ी संख्या में रह रहे हैं, वहां पर यह विशेष रुप से पूरे धूम धाम से मनाया जाता है. इसी कड़ी में राजधानी भोपाल से सटे सीहोर जिले के कई गांवों में भगोरिया पर्व की धूम देखने को मिल रही है. सीहोर जिले के बिलकिसगंज, लाडकुई, ब्रिजिशनगर, सिद्दीकगंज, कोलारडेम क्षेत्र में हाट के दिन भगोरिया पर्व आयोजित होगा.  प्रदेश भर के आदिवासी बाहुल्य क्षेत्रों में आज 18 मार्च से भगोरिया लोकपर्व की शुरुआत होगी. 24 मार्च को होली दहन के साथ पर्व का समापन होगा. क्यों पड़ा भगोरिया नाम? भगोरिया महोत्सव आदिवासी समुदाय का सबसे बड़ा त्योहार माना जाता है. भगोरिया में आदिवासी समुदाय की संस्कृति की झलक देखने को मिलती है. ऐसी मान्यता है कि भगोरिया की शुरुआत राजा भोज के समय से हुई थी. उस समय दो भील राजाओं कासूमार और बालून ने अपनी राजधानी भगोर में मेले का आयोजन करना शुरू किया. धीरे-धीरे आसपास के भील राजाओं ने भी इन्हीं का अनुसरण करना शुरू किया, जिससे हाट और मेले को भगोरिया कहने का चलन बन गया. सभी को रहता है बेसब्री से इंतजार भगोरिया हाट में जाने के लिए बड़े, बूढ़े, बच्चे, युवा, युवतियां, महिलाएं हर कोई लालायित रहता है. एक महीने पहले से ही आदिवासी समाज भगोरिया पर्व की तैयारियों में जुट जाता है. आदिवासी युवतियां नए पारम्परिक परिधान पहनकर इस मेले में आती हैं. श्रृंगार करती हैं, तो युवा भी सजधज कर बंसी की धुन छेड़ने लगते हैं. आदिवासी जन ढोल मांदल कसने लग जाते हैं. चारों तरफ उत्साह और उमंग का वातावरण रहता है. खेतों में गेहूं और चने की फसल के साथ वातावरण में टेसू, महुआ, ताड़ी की मादकता अपना रस घोलती है. तैयार किया जात विशेष ढोल हाट में जगह-जगह भगोरिया नृत्य में ढोल की थाप, बांसुरी, घुंघरुओं की ध्वनियां सुनाई देती हैं, यह दृश्य बहुत ही मनमोहक होता है. इस पर्व के लिए बड़ा ढोल (मांदल) विशेष रूप से तैयार किया जाता है, जिसमें एक तरफ आटा लगाया जाता है. ढोल वजन में काफी भारी और बड़ा होता है. पर्व में ऐसे तय होते हैं रिश्ते भगोरिया मेले में युवक युवतियां एक ही रंग के वेश-भूषा में नजर आते हैं. इस दौरान कई युवक युवतियों का रिश्ता भी तय हो जाता है. भगोरिया में आने वाले युवक-युवतियां अपने लिए जीवन साथी की तलाश भी करते हैं. इनमें आपसी रजामंदी जाहिर करने का तरीका भी बेहद निराला होता है. सबसे पहले लड़का लड़की को पान खाने के लिए देता है. अगर लड़की पान खा लेती है, तो रिश्ता हां समझा जाता है. इसके बाद … Read more